ब्रीफकेस-2022/नेतराम भारती

पुस्तक का नाम : 'ब्रीफ़केस' (लघुकथा-संग्रह)

लघुकथाकार का नाम : नेतराम भारती

प्रकाशक : अयन प्रकाशन, नई दिल्ली 

प्रकाशन वर्ष : 2022

पृष्ठ संख्या : 160

कुल लघुकथाएं : 83

ISBN: 978-93-91378-02-8

अनुक्रमणिका

1. रसीदी टिकट

2. सदमा

3. ब्रीफकेस

4. नये पिता 

5. फ़रिश्ता

6. इडियट को थैंक्स

7. आख़िरी पतंग

8. पत्नी ने कहा था

9. बुजुर्ग का चुंबन 

10. शब्दहीन अभिव्यक्ति

11. मैडम सिल्विया

12. कान और मुँह

13. बेड नंबर 118

14. ऑनलाइन-ऑफलाइन

15. एक सत्य यह भी

16. संवेदना की वेदना

17. सफ़ेद कोठी

18. चुनावी कमीज़

19. चित्र और वाक्य

20. शादी बिन बराती

21. गंदा शहर

22. जिंदा है मुर्दा

23. पूंजी

24. वाट्स अप मैसेज

25. वह औरत...

26. बाल-बाल बचा...

27. संदीप की माँ 

28. बेचारी रामप्यारी

29. मुहिम

30. काँच का टुकड़ा

31. ओलावृष्टि

32. शिष्टाचार

33. समोसा पार्टी

34. अज्ञानी औरत

35. समझदारी

36. शत्रु- संहार

37. कविता का प्रभाव

38. क्रॉकरी या जीवन

39. कोहु नृप होय हमें का हानि

40. खरोंच की कीमत

41. बस इतनी-सी बात!

42. गुडलुकिंग एण्ड फेयर स्किंड

43. यूज एंड थ्रो

44. पत्नी और बुजुर्ग

45. रावण में भी राम

46. बड़ा पार्सल

47. आख़िरी रात

48. रिहर्सल

49. गँधारी काश! तू मना कर देती

50. बेटे की गवाही

51. आओ देश बनायें

52. सरनेम

53. त्वरित टिप्पणी

54. थोड़ी-सी कंपनी

55. कौन मरा किसका दुःख

56. शिनाख्त

57. खुल्लम-खुल्ला प्यार करेंगे

58. मेरा गुनाह

59. चित्र

60. कॉम्प्लीमेंट

61. नौकरी

62. जेल का नेता

63. केस डिसमिस

64. मोबाइल परवरिश

65. झोलाछाप डॉक्टर

66. नाली का कीड़ा

67. औज़ार

68. बूढ़ों की चक्की

69. टायर पंचर

70. किस्तों वाला

71. टोटका

72. अफ़सोस

73. टेंकर

74. कसूरवार

75. अपने-अपने हिस्से का संघर्ष

76. मिस्टर तनेजा

77. इंटरव्यू

78. निन्नी

79. सनकी, पागल, जुनूनी

80. कार ट्रेनर

81. कर्जमुक्त

82. शिकायत है मुझे

83. विश्वास -सेतु

प्रस्तुत संग्रह से एक लघुकथा....ज़िंदा है मुर्दा

"मैंने देखा था माँ, अपनी इन्हीं आँखों से देखा था कि पिताजी के हाथ हिले थे और धड़कन भी चल रही है। पिताजी ज़िंदा हैं माँ।"

दिवाकर ने रोते हुए कहा।

"क्या बात कर रहा है देवा! ऐसे कैसे हो सकता है? बड़े डॉक्टर साहब ने तो अपने केबिन में बुलाकर मुझे कहा था कि..... 

सुनयना का गला भर आया।

"चल मेरे साथ, तू खुद ही देख ले अपनी आँखों से।"

माँ-बेटा बीमार को देखने आई. सी. यू की तरफ दौड़े तो सामने से बड़े डॉक्टर आते दिखाई दिए।

"डॉ. साहब दिवाकर कह रहा है कि उसके पिता ज़िंदा हैं। पर आपने तो कहा था कि वे... 

" मर चुके हैं, सही कहा था।"

"पर डॉ. साहब मैंने खुद अपनी आँखों से देखा है कि उनकी धड़कन चल रही है, पैर भी गर्म है, और उनके हाथों में कम्पन भी हुआ था।"

"तुम ठीक कह रहे हो, पर मैं फिर भी यही कहूँगा कि वे अब नहीं रहे हैं और अब उन्हें ज़्यादा दिनों तक वेंटिलेटर पर रखना तुम्हारा  बिल ही बढ़ाएगा उनको कोई फ़ायदा नहीं करेगा।

"मतलब! मैं समझा नहीं डॉ. साहब।"

"मतलब, उनकी धड़कन, किडनी, लीवर सिर्फ़ लाइफ सपोर्ट सिस्टम से ही फंक्शन कर रही हैं, हटाते ही वो भी बंद हो जायेंगे l मेरा मशविरा है कि बेकार में अस्पताल का बिल बढ़ाने का कोई फ़ायदा नहीं है।" 

"पर डॉ. साहब धड़कन तो अभी भी चल रही है.... 

सुनयना रोने लगी।

"एक्चुअली आप समझ ही नहीं रहे हैं और बिना आपकी अनुमति के हम उन्हें मशीन से नहीं हटा सकते हैं। विदेश में होते तो अब तक घोषित कर चुके होते, पर हमारे देश में ब्रेन डेथ को डेथ घोषित करने का कोई कानून नहीं है।" 

"पर डॉ. साहब धड़कन तो चल रही है, शायद कोई चमत्कार हो जाए।" 

डॉ. मुस्करा दिया।

"अपने बड़ों से सलाह करके मुझे बता देना।" 

कहकर डॉ. साहब आगे बढ़ गए और  माँ-बेटा दोनों एक-दूसरे को देखने लगे।

नेतराम भारती

मूल निवासी दौसा, राजस्थान

 पता: राजनगर एक्सटेंशन, गाज़ियाबाद (उत्तर प्रदेश) 

शिक्षा बी.ए., एम.ए. (दिल्ली विश्वविद्यालय), बी.ए. (महर्षि दयानन्द विश्वविद्यालय, रोहतक, हरियाणा)।

प्रकाशित पुस्तकें अंधेरों में परछाइयाँ (गुजुल संग्रह), अपराजिता (उपन्यास) "हाल-ए-वबा" (साझा गुज़ल-संग्रह) सुकवि शतक (साझा मुक्तक-संग्रह), "ब्रीफकेस" (लघुकथा संग्रह)।

प्रकाशनाधीन

• "देखन में छोटे लगे" (एकल दोहा-संग्रह), "गीतिका गौरव" (साझा गीतिका संग्रह, संपादन श्रद्धेय ओम नीरव जी). 

 ● 1992 से गद्य-पद्य दोनों विधाओं में समान अधिकार से लेखन में सक्रिय।

पुरस्कार/सम्मान 

• देश के अनेक नामी-गिरामी साहित्य संस्थानों से 70 से अधिक सम्मान से सम्मानित व पुरस्कृत। जिनमें "लघुकथा रत्न" (लघुकथा-लोक, लखनऊ), "मुन्शी प्रेमचंद सम्मान" (वर्तमान अंकुर, नोएडा), "गाँधी शांति सम्मान", "छंदश्री", गीतश्री, "गीतिकाश्री", "वाग्देवी हिन्दी सेवी सम्मान" (मुक्तक लोक, लखनऊ)। "दोहा धुरंधर सम्मान", "उत्तर प्रदेश काव्य गौरव सम्मान", "मुक्तकमणि" (सृजन सरोवर, झारखंड), "उत्सव रत्न" (कथा दर्पण साहित्य मंच, इंदौर), "सर्वोत्तम रचना सम्मान" (तारशतक, भीलवाड़ा, राजस्थान), श्रेष्ठ दोहाकार सम्मान (साहित्य संगम संस्थान, नई दिल्ली), "दोहा भूषण" (प्रयागराज, राष्ट्रीय अभिनव साहित्यिक मंच) आदि।

• दिल्ली दूरदर्शन के राष्ट्रीय चैनल पर दो बार स्वयं के लिखे-निर्देशित नुक्कड़ नाटकों का प्रदर्शन, 70 से अधिक नुक्कड़ नाटकों का (लेखन-निर्देशन), *02 कहानियों का ऑनलाइन नाट्य रूपांतरण व मंचन, 8 बैले (नृत्य नाटिकाएँ)

 ●देशभर की प्रतिष्ठित पत्रिकाओं और समाचार पत्रों में काव्य और लघुकथाओं का अनवरत प्रकाशन जारी....

 • दो बार श्रेष्ठ शिक्षक अवार्ड।

सम्प्रति : डी.ए.वी. स्कूल (दिल्ली) में शिक्षक।

मोबाइल: 9871579114 

ई-मेल: netram10@gmail.com

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