प ग चिह्न / अतुल कुमार
90 पृष्ठीय इस पुस्तक में 38 पृष्ठ काव्य को 52 पृष्ठ लघुकथा को दिए गए हैं।
पुस्तक : प ग चिह्न
कृतिकार : अतुल कुमार
ISBN No. : 978-81-958754-1-2
सर्वाधिकार : @ लेखकाधीन
प्रकाशक : विष्णु प्रभाकर प्रतिष्ठान (पंजी.)
ए-249, सेक्टर-46, नोएडा - 20130
मो. : 9810911826
ईमेल : atul.kumar018@gmail.com
आवरण : श्वेताली कपूर
शब्द संयोजन : विक्की कपूर
मुद्रक : अमित कलर प्रिंटर्स, नोएडा
संस्करण : 2022
मूल्य : 165.00 रुपए
अपनी बात
यूं ही सरे राह चलते-चलते कब मन में क्या विचार उभर आए, इसका पहले से कोई अनुमान नहीं होता। काल, घटनाएं, परिस्थितियां कुछ भी मन को कभी भी बींध सकते हैं। ऐसे अयास उपजे विचार मन में कितनी 'देर ठहरते हैं, कितना स्थिर रहते हैं, कितना प्रभावी होते हैं इसका भी पहले से कोई अंदाजा नहीं लगाया जा सकता। कुछ विचार, कुछ चित्र तो मन पर कोई प्रभाव डाले बिना ही ओझल हो जाते हैं और कुछ ठहर जाते हैं। इन ठहरे हुए विचारों में से कुछ कोई विशिष्ट रूप ले मन-मस्तिष्क में गूंजने लगते हैं। इनमें से भी कुछ की गूंज इतनी गहरी होती है कि वे कागज पर अंकित हो जाने को मचलते रहते हैं। समय के साथ इन विन्यासों में से भी कुछ धुंधले पड़ जाते हैं और कुछ अन्य अपना रंग - रूप बनाए रखते हैं - कुछ धमक के साथ, कुछ महक के साथ, कुछ सरोकार के साथ...।
ऐसे ही समय-समय पर डायरी के पन्नों पर उकेरे गए मन के कुछ उद्गार पग (पद्य - गद्य) चिन्ह के रूप में यहां समेटे हैं। जिस रचना में पद्य और एक दूसरे में गुंथे हुए होते हैं, वह चंपू विधा की रचना कहलाती है। इस पुस्तक में दोनों हैं, एक यात्री के दो पग, एक दूसरे के पूरक, सहयात्री के रूप में, परंतु जुदा-जुदा खंडों में बटे, अपनी-अपनी वृत्ति के साथ। चंपू विधा से इतर। जो भी है आपके सम्मुख है। पुस्तक की तैयारी में सहयोग देने वाले अनुराधा, प्रसून लतांत और विक्की कपूर का आभार । प्रतिक्रिय की प्रतीक्षा रहेगी।
अतुल कुमार प्रभाकर
मोबाईल - 9810911826
अनुक्रमणिका
1. निस्तारण
2. चिंता
3. जाले
4. २ अक्टूबर का वह दिन
5. तमाशबीन
6. कर्म फल
7. फुलवारी
8. जीवन
9. वास्तु योग
10. जज्बा
11. सुधार का ठेका
12. ऊं हूं
13. सुरक्षित स्थान
14. लिहाज़
15. संगदिली
16. सीख
17. हमने सीखा ही यही है
18. क्या हम जीना छोड़ दें
19. सांठ-गांठ
20. आदर - निरादर
21. किस्सा भैंस का
22. जमीर
23. ईमानदारी की फीस
24. तनाव
25. शिकायत
26. चौपाल
27. बलि के बकरे
28. भाग्य की विवश्ता
29. मोह और मुक्ति
30. जहर
31. कड़वी बेल यश की
32. नामुराद औलाद
अतुल कुमार
जन्म : 18 अप्रैल 1945, दिल्लीशिक्षा : एम. एस-सी
कार्यक्षेत्र : पहले - निजी व्यवसाय
अब - साहित्यिक गोष्ठियों व अन्य कार्यक्रमों का आयोजन तथा समाज सेवा
सम्प्रति - संस्थापक मंत्री, विष्णु प्रभाकर प्रतिष्ठान, नोएडा
संयोजक - सन्निधि संगोष्ठी, नई दिल्ली
उपाध्यक्ष - विश्व समन्वय संघ, नई दिल्ली
पुस्तकें :
1. संपादन- चलता चला जाऊगाँ (कविता संग्रह) प्रभात प्रकाशन
2. संपादन - विष्णु प्रभाकर रचना संचयन
साहित्य अकादेमी
3. संयोजन - विष्णु प्रभाकर, जीवन एवं कृतियाँ
विष्णु प्रभाकर प्रतिष्ठान
4. कृति - डूबते को तिनके का सहारा, (कविता संग्रह) विष्णु प्रभाकर प्रतिष्ठान
सम्पर्क : ए-249, सेक्टर-46, नोएडा - 201303
मोबाइल : 9810911826
ईमेल : atul.kumar018@gmail.com
विष्णु प्रभाकर प्रतिष्ठान ए-249, सेक्टर-46 नोएडा - 201303
मूल्य - 165/-
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